Bollywood movies banned in Pakistan: पाकिस्तान ने जिन बॉलीवुड फिल्मों को बैन किया है, उनमें एक खास पैटर्न नजर आता है- या तो वे देशभक्ति से भरी होती हैं, आतंकवाद की कड़ी सच्चाई को सामने लाती हैं या भारत की सैन्य शक्ति को गर्व से दिखाती हैं.
Bollywood Movies Banned in Pakistan: पाकिस्तान और बॉलीवुड के रिश्ते हमेशा से उतार-चढ़ाव भरे रहे हैं. कभी फिल्में वहां की जनता के दिलों में उतर जाती हैं, तो कभी यही फिल्में पाकिस्तान सरकार को चुभ जाती हैं. कई बार राजनीतिक और सैन्य संवेदनाओं के चलते पाकिस्तान ने भारतीय फिल्मों पर रोक लगा दी है. खासकर वे फिल्में जो भारत की राष्ट्रभक्ति या आतंकवाद विरोधी रुख को दर्शाती हैं, पाकिस्तान की नजरों में खटक जाती हैं. ‘टाइगर जिंदा है’, ‘हैदर’, ‘राज़ी’, ‘परमाणु’, ‘नीरजा’, ‘ढिशूम’ और ‘जॉली एलएलबी 2’- ये सात फिल्में सिर्फ सिनेमा नहीं थीं, ये भारत की एक मजबूत और जागरूक छवि को दर्शा रही थीं, जिससे पाकिस्तान घबरा गया और उन्हें बैन करना ही मुनासिब समझा. आ
टाइगर जिंदा है

सलमान खान और कैटरीना कैफ की यह एक्शन फिल्म जब भारत में रिलीज हुई तो बॉक्स ऑफिस पर तहलका मचा दिया. लेकिन पाक ने इसे देश में दिखाने की इजाजत नहीं दी. फिल्म में RAW और ISI की कहानी दिखाई गई थी, जिसमें ISI को नकारात्मक ढंग से चित्रित किया गया. पाकिस्तान के सेंसर बोर्ड को लगा कि इससे देश की प्रतिष्ठा को नुकसान पहुंचेगा, लिहाजा फिल्म पर बैन लगा दिया गया.
हैदर

विशाल भारद्वाज की critically acclaimed फिल्म ‘हैदर’ में कश्मीर की असलियत को गहराई से दिखाया गया. यह फिल्म शेक्सपियर के ‘हैमलेट’ पर आधारित थी, लेकिन इसमें भारतीय सेना और कश्मीर की राजनीति का चित्रण पाकिस्तान के लिए असहज करने वाला था. फिल्म में आतंकवाद, अलगाववाद और मानवाधिकार उल्लंघन जैसे मुद्दे उठाए गए, जो पाकिस्तान को असहज कर गए और उन्होंने इसे अपने यहां दिखाने की अनुमति नहीं दी.
राज़ी

आलिया भट्ट की फिल्म ‘राज़ी’ एक सच्ची कहानी पर आधारित थी, जिसमें एक भारतीय लड़की अपने देश के लिए पाकिस्तान जाकर जासूसी करती है. फिल्म 1971 की पृष्ठभूमि में सेट थी, जब भारत और पाकिस्तान के बीच युद्ध हुआ था. फिल्म के राष्ट्रवादी संदेश और पाकिस्तानी सेना के भीतर की संवेदनशील जानकारियों को दिखाए जाने से पाकिस्तान बौखला गया और सेंसर बोर्ड ने फिल्म पर रोक लगा दी.
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परमाणु

जॉन अब्राहम की फिल्म ‘परमाणु: द स्टोरी ऑफ पोखरण’ भारत के 1998 के न्यूक्लियर टेस्ट पर आधारित थी. यह वही घटना थी जिसने पाकिस्तान को अंतरराष्ट्रीय मंच पर असहज कर दिया था. फिल्म की देशभक्ति से ओतप्रोत कहानी और भारत की परमाणु शक्ति प्रदर्शन को लेकर पाकिस्तान ने इसे प्रोपेगैंडा बताया और तुरंत इसे बैन कर दिया.
नीरजा

सोनम कपूर की यह फिल्म पैन ऐम फ्लाइट 73 के हाईजैक पर आधारित थी, जिसमें नीरजा भनोट ने कई जानें बचाई थीं. आतंकवादियों के पाकिस्तानी मूल के होने और फिल्म में इस पूरे प्रकरण को दर्शाने के चलते पाकिस्तान सरकार ने इसे अपमानजनक बताया और फिल्म को बैन कर दिया. जबकि भारत में इस फिल्म को राष्ट्रीय पुरस्कार से भी नवाजा गया.
ढिशूम

जॉन अब्राहम और वरुण धवन की फिल्म ‘ढिशूम’ में एक क्रिकेटर के अपहरण की कहानी थी, जिसे भारत-पाक मैच से पहले अगवा कर लिया जाता है. फिल्म में यह दिखाया गया कि इस साजिश के पीछे पाकिस्तान आधारित आतंकी संगठन है. क्रिकेट जैसी संवेदनशील भावना और आतंक को मिलाकर दिखाने से पाकिस्तान का सेंसर बोर्ड नाराज़ हुआ और उसने फिल्म पर बैन लगा दिया.
जॉली एलएलबी 2

अक्षय कुमार की यह फिल्म एक वकील की कहानी थी जो एक निर्दोष मुसलमान की मौत के लिए न्याय की लड़ाई लड़ता है. फिल्म में आतंकी संदिग्धों की बात की गई, जो पाकिस्तान से जुड़े थे. इस वजह से पाकिस्तान ने इसे अपने खिलाफ बताया और फिल्म को देश में प्रदर्शित होने से रोक दिया.
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