Home राज्यMadhya Pradesh MP चुनाव को लेकर कांग्रेस का बड़ा आरोप, कहा- 27 से ज्यादा सीटों पर हुई ‘वोट चोरी’

MP चुनाव को लेकर कांग्रेस का बड़ा आरोप, कहा- 27 से ज्यादा सीटों पर हुई ‘वोट चोरी’

by Sachin Kumar
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Vote theft 27 seats 2023 MP assembly elections alleges Congress

MP News : बिहार से लेकर संसद और अब मध्य प्रदेश में वोट चोरी का मुद्दा गरमा गया है. कांग्रेस ने दावा किया कि साल 2023 के विधानसभा चुनाव से पहले कई वोटर्स को लिस्ट में जोड़ा गया.

MP News : पूरे देश में जहां वोट चोरी को लेकर घमासान मचा है तो मध्य प्रदेश कांग्रेस ने भी बड़ा दावा किया है. आईएनसी ने आरोप लगाया है कि मध्य प्रदेश विधानसभा चुनाव 2023 में 27 से ज्यादा सीटों पर वोट चोरी हुई थी और भारतीय जनता पार्टी (BJP) को अनैतिक लाभ पहुंचाया गया था. मीडिया से बात करते हुए विपक्ष के नेता उमंग सिंघार (Umang Singhar) ने ग्राफिक्स के माध्यम से आंकड़ों के जरिए दावा किया कि चुनाव से कुछ महीने पहले लाखों मतदाता जुड़े और जिन क्षेत्रों में कांग्रेस का उम्मीदवार कम अंतर से हारे वहां पर मतदाताओं की संख्या में वृद्धि हार के अंतर से कहीं ज्यादा पाई गई.

27 से ज्यादा सीटों पर हुई धांधली

विधानसभा में प्रतिपक्ष नेता ने जोर देकर कहा कि राज्य की 27 से ज्यादा विधानसभा सीटों पर वोटों की चोरी हुई और ऐसा BJP को अनैतिक लाभ पहुंचाने के लिए किया गया है. सिंघार ने दावा किया कि 5 जनवरी से 2 अगस्त 2023 के बीच सात महीनों में मध्य प्रदेश में मतदाताओं की कुल संख्या में करीब 4.64 लाख की वृद्धि हुई, जबकि 2 अगस्त से 4 अक्टूबर के बीच दो महीनों में 16.05 लाख मतदाताओं की अप्रत्याशित वृद्धि हुई है. एमपी विधानसभा में प्रतिपक्ष नेता ने कहा कि इसका साफ मतलब है कि 2 अगस्त से लेकर 4 अक्टूबर के बीच हर दिन करीब 26 हजार मतदाता जोड़े गए हैं. साथ ही उस वक्त राज्य में मतदान 17 नवंबर, 2023 को हुआ था.

जिलाधिकारी ने रिपोर्ट सार्वजनिक नहीं की

उन्होंने कहा कि राहुल गांधी द्वारा वोट चोरी के खुलासे ने देश को झकझोर कर रख दिया है और मध्य प्रदेश भी इस सुनियोजित चुनावी षडयंत्र का शिकार हुआ है. उमंग सिंघार ने आरोप लगाया कि वोटर्स लिस्ट में बड़े पैमाने पर अनियमितताएं हैं, जिनमें वोटर्स की संख्या में असामान्य वृद्धि और डुप्लिकेट प्रविष्टियां शामिल हैं. सिंघार ने कहा कि मध्य प्रदेश राज्य चुनाव आयोग ने 2 दिसंबर, 2022 को एक आदेश जारी कर मतदाता सूची में 8,51,564 फर्जी/डुप्लीकेट प्रविष्टियों को हटाने का निर्देश दिया गया था, लेकिन उस वक्त किसी भी जिलाधिकारी ने विलोपन रिपोर्ट सार्वजनिक नहीं की. उन्होंने दावा किया कि सूचना अधिकार के तहत भी संबंधित आंकड़े उपलब्ध नहीं कराए गए. कांग्रेस विधायक ने अब मांग की है कि चुनाव आयोग अंतिम मतदाता सूची पर रोक लगाए.

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