India-US trade talks: भारत-अमेरिका के बीच टैरिफ समाधान जल्द होने की उम्मीद है.प्रस्तावित द्विपक्षीय व्यापार समझौते पर अमेरिका के साथ भारत की बातचीत आगे बढ़ रही है.
India-US trade talks: भारत-अमेरिका के बीच टैरिफ समाधान जल्द होने की उम्मीद है.प्रस्तावित द्विपक्षीय व्यापार समझौते पर अमेरिका के साथ भारत की बातचीत आगे बढ़ रही है. वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री पीयूष गोयल ने बुधवार को कहा कि प्रस्तावित द्विपक्षीय व्यापार समझौते पर अमेरिका के साथ बातचीत आगे बढ़ रही है. उन्होंने बताया कि अमेरिकी टीम बातचीत के लिए नई दिल्ली में है. गोयल ने प्रवासी राजस्थानी दिवस पर जयपुर में कहा कि अमेरिका के साथ बातचीत लगातार आगे बढ़ रही है. हम द्विपक्षीय व्यापार समझौते की दिशा में आगे बढ़ रहे हैं. उन्होंने संकेत दिया कि वह दौरे पर आए अमेरिकी आधिकारिक दल से मुलाकात कर सकते हैं. अमेरिकी व्यापार उप प्रतिनिधि (USTR) रिक स्विट्जर के नेतृत्व में एक प्रतिनिधिमंडल अपने भारतीय समकक्ष राजेश अग्रवाल के साथ दो दिवसीय व्यापार वार्ता के लिए राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में है.
अमेरिकी अधिकारियों की दूसरी भारत यात्रा
समझौते के लिए अमेरिका के मुख्य वार्ताकार, दक्षिण और मध्य एशिया के सहायक अमेरिकी व्यापार प्रतिनिधि ब्रेंडन लिंच, भारत के मुख्य वार्ताकार और वाणिज्य विभाग में संयुक्त सचिव दर्पण जैन के साथ चर्चा करेंगे. यह दौरा महत्वपूर्ण है क्योंकि भारत और अमेरिका समझौते की पहली किस्त को अंतिम रूप देने के लिए काम कर रहे हैं. रूसी कच्चे तेल की खरीद के कारण अमेरिकी बाजार में प्रवेश करने वाले भारतीय सामानों पर 25 प्रतिशत टैरिफ और अतिरिक्त 25 प्रतिशत जुर्माना लगाए जाने के बाद अमेरिकी अधिकारियों की यह दूसरी भारत यात्रा है. अमेरिकी अधिकारियों ने पिछली बार 16 सितंबर को भारत का दौरा किया था. 22 सितंबर को वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री गोयल ने भी व्यापार वार्ता के लिए एक आधिकारिक प्रतिनिधिमंडल का नेतृत्व करते हुए अमेरिका का दौरा किया था. उन्होंने मई में भी वाशिंगटन का दौरा किया था.
वाणिज्य सचिव ने जताई उम्मीद
यह वार्ता इसलिए भी महत्वपूर्ण है क्योंकि वाणिज्य सचिव राजेश अग्रवाल ने हाल ही में कहा था कि भारत को इस साल ही एक नीतिगत व्यापार समझौते पर पहुंचने की उम्मीद है, जिससे भारतीय निर्यातकों के लाभ के लिए टैरिफ मुद्दे का समाधान हो सके. यह देखते हुए कि द्विपक्षीय व्यापार समझौते (बीटीए) में समय लगेगा, अग्रवाल ने कहा कि भारत अमेरिका के साथ एक नीतिगत व्यापार समझौते पर लंबी बातचीत में लगा हुआ है, जो भारतीय निर्यातकों के सामने आने वाली पारस्परिक टैरिफ चुनौती का समाधान करेगा. वाणिज्य एवं उद्योग मंत्री ने कहा कि भारत और अमेरिका दो समानांतर वार्ताएं कर रहे हैं – एक टैरिफ से निपटने के लिए एक नीतिगत व्यापार समझौते पर और दूसरी एक व्यापक व्यापार समझौते पर. फरवरी में दोनों देशों के नेताओं ने अधिकारियों को एक समझौते पर बातचीत करने का निर्देश दिया था.
अब तक वार्ता के छह दौर पूरे
समझौते के पहले चरण को 2025 तक पूरा करने की योजना थी. अब तक वार्ता के छह दौर हो चुके हैं. इस समझौते का उद्देश्य द्विपक्षीय व्यापार को वर्तमान 191 अरब अमेरिकी डॉलर से बढ़ाकर 2030 तक 500 अरब अमेरिकी डॉलर से अधिक करना है. अमेरिका 2024-25 में लगातार चौथे वर्ष भारत का सबसे बड़ा व्यापारिक साझेदार बना रहा, जिसका द्विपक्षीय व्यापार मूल्य 131.84 अरब अमेरिकी डॉलर (86.5 अरब अमेरिकी डॉलर निर्यात) था. भारत के कुल माल निर्यात में अमेरिका की हिस्सेदारी लगभग 18 प्रतिशत, आयात में 6.22 प्रतिशत और कुल व्यापारिक व्यापार में 10.73 प्रतिशत है. निर्यातकों के अनुसार, यह समझौता महत्वपूर्ण है क्योंकि वाशिंगटन द्वारा लगाए गए भारी टैरिफ के कारण अक्टूबर में लगातार दूसरे महीने अमेरिका को भारत के व्यापारिक निर्यात में 8.58 प्रतिशत की गिरावट दर्ज की गई और यह घटकर 6.3 अरब अमेरिकी डॉलर रह गया.
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