Home राज्य चंडीगढ़ मेयर ने पद से दिया इस्तीफा, ‘आप’ के तीन पार्षद बीजेपी में शामिल

चंडीगढ़ मेयर ने पद से दिया इस्तीफा, ‘आप’ के तीन पार्षद बीजेपी में शामिल

by Rashmi Rani
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AAP councilors join BJP

19 Feb 2024

सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई से एक दिन पहले दिया इस्तीफा

बीजेपी नेता मनोज सोनकर ने चंडीगढ़ के महापौर पद से रविवार को इस्तीफा दे दिया है। साथ ही आम आदमी पार्टी के 3 पार्षद बीजेपी में शामिल हो गए हैं। दरअसल, ये सब महापौर पद के लिए हालिया चुनावों में धांधली के आरोपों को लेकर सुप्रीम कोर्ट में सुनवाई से एक दिन पहले हुआ है। वहीं, भाजपा की चंडीगढ़ इकाई के प्रमुख जतिंदर पाल मल्होत्रा ने कहा कि कांग्रेस और आप के बीच कोई गठबंधन नहीं है। वो सिर्फ जनता को बेवकूफ बना रहे हैं। उन्होंने कहा कि उन्हें जनता के सामने बेनकाब किया जाएगा। जानकारी के मुताबिक तीन पार्षद नेहा, पूनम और गुरुचरण काला बीजेपी में शामिल हुए हैं। हालांकि ये भी साफ है कि, जब भी आने वाले समय में महापौर के चुनाव होंगे ‘आप’ के 3 पार्षदों के पाला बदलने से पलड़ा बीजेपी के पक्ष में झुक जाएगा।

किस पार्टी में कितने पार्षद

उनके शामिल होने से पहले, 35 सदस्यीय चंडीगढ़ नगर निगम में बीजेपी के 14 पार्षद थे और आप के 13 पार्षद थे। चंडीगढ़ की सांसद किरण खेर को भी निगम के सदन में मतदान का अधिकार है। कांग्रेस के सात और शिरोमणि अकाली दल का एक पार्षद है।

महापौर चुनावों में लगा था धांधली का आरोप

बता दें कि बीजेपी ने 30 जनवरी को महापौर पद के लिए हुए चुनाव में जीत हासिल की थी। जिससे आप और कांग्रेस के गठबंधन को झटका लगा था। निर्वाचन अधिकारी पर मत पत्रों में छेड़छाड़ करने का आरोप लगाया था। सोनकर ने महापौर पद के लिए हुए चुनाव में ‘आप’ के कुलदीप कुमार को हराया था। सोनकर को 16, जबकि कुमार को 12 वोट मिले थे और 8 वोट अवैध घोषित किए गए थे। हालांकि इस घटना के बाद कुमार ने बाद में सुप्रीम कोर्ट का रुख किया था।

सुनवाई के दौरान निर्वाचन अधिकारी को फटकार

शीर्ष अदालत ने 5 फरवरी को महापौर चुनाव कराने वाले निर्वाचन अधिकारी को फटकार लगाई थी। साथ ही ये भी कहा था कि ये साफ है कि उन्होंने मतपत्रों में छेड़छाड़ की थी। उन पर मुकदमा चलाया जाना चाहिए। अदालत ने ये भी कहा था कि अधिकारी का कार्य लोकतंत्र की ‘‘हत्या और मजाक” नहीं है। अदालत ने मत पत्रों और मतदान की कार्यवाही के वीडियो को सुरक्षित रखने का भी आदेश दिया था। 19 फरवरी को मामले की अगली सुनवाई के दिन निर्वाचन अधिकारी को व्यक्तिगत रूप से पेश होने को कहा था।

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