Home राज्यMaharashtra ‘1978 में वसंतदादा सरकार गिराई, 10 साल बाद मुझे बनाया CM’, जानें ऐसा क्यों बोले शरद पवार

‘1978 में वसंतदादा सरकार गिराई, 10 साल बाद मुझे बनाया CM’, जानें ऐसा क्यों बोले शरद पवार

by Sachin Kumar
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Sharad Pawar toppled Vasantdada govt 1978 proposed my name CM 10 yrs

Sharad Pawar: एनसीपी (शरदचंद्र पवार) के अध्यक्ष शरद पवार ने उस वक्त को याद किया जब लोगों में इतनी उदारता थी कि उनकी सरकार गिराने के बाद समर्थन में आ जाते थे. साथ ही उस समय के लोग विचारधारा के प्रति समर्पित थे.

Sharad Pawar: राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (शरदचंद्र पवार) के अध्यक्ष शरद पवार (Sharad Pawar) ने बताया कि उन्होंने साल 1978 में वसंतदादा पाटिल (Vasantdada Patil) की नेतृत्व वाली सरकार को गिराने के लिए नेतृत्व किया था. लेकिन उसी लीडर ने करीब 10 साल बाद मुझे मुख्यमंत्री बनवाने में काफी मदद की थी. एक कार्यक्रम में लोगों को संबोधित करते हुए शरद पवार ने कहा कि उस दौरान कांग्रेस के पास इस तरह का उदार ह्रदय वाला नेतृत्व था. बता दें कि पवार ने साल 1999 में कांग्रेस से नाता तोड़कर राष्ट्रवादी कांग्रेस पार्टी (NCP) की स्थापना की थी. लेकिन साल 2023 में उनके भतीजे अजित पवार ने शिवसेना-BJP से मिलने के बाद राकांपा तोड़ दिया था.

नाराजगी से पैदा हुई खाई

आपको बताते चलें कि 84 वर्षीय राज्यसभा सदस्य शरद पवार कई बार महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री भी रह चुके हैं. साथ ही आपातकाल के बाद कांग्रेस (इंदिरा) और स्वर्ण सिंह कांग्रेस में विभाजन हो गया था. उस वक्त पवार अपने गुरु यशवंतराव चव्हाण के साथ स्वर्ण सिंह की कांग्रेस में बने रहे, लेकिन बाद में हुए चुनावों में किसी भी पक्ष को स्पष्ट बहुमत नहीं मिला. उन्होंने कहा कि इसके बाद हम एकजुट हो गए और फिर हमने वसंतदादा को मुख्यमंत्री बनाया. हालांकि, हममें से कई युवा कार्यकर्ताओं की कांग्रेस (I) के प्रति नाराजगी थी, क्योंकि हम चव्हाण साहब के साथ जुड़े हुए थे और इस दौरान एक खाई पैदा हो गई थी. यही वजह थी कि दादा ने इस पाटने की कोशिश की लेकिन हम इसका लगातार विरोध कर रहे.

कांग्रेस में उदार नेताओं की लाइन थी

शरद पवार ने बताया कि मैं इसका सबसे बड़ा विरोधी था और इसके बाद हमने सरकार गिराने का फैसला किया. मैं इसके 10 साल बाद जब मुख्यमंत्री बना तो उन्होंने मेरी मदद की, साथ ही हम सब एक बार फिर से एकजुट हो गए. पवार ने आगे कहा कि जब अगले मुख्यमंत्री के नाम पर फैसला लेने के लिए बैठक बुलाई गई, तो कई नामों पर चर्चा हुई रामराव आदिक, शिवाजीराव निलंगेकर लेकिन किसी पर सहमति नहीं बन पाई. इसी बीच दादा ने कहा कि अब और चर्चा नहीं… हमें पार्टी का पुनर्निर्माण करना है. शरद इसका नेतृत्व करेंगे, उन्होंने कहा कि आप लोग कल्पना कीजिए कि जिस नेता की सरकार मैंने गिराई और उस व्यक्ति ने सबकुछ दरकिनार कर दिया, विचारधारा के प्रति समर्पित होते हुए उन्होंने मेरा समर्थन किया. पवार ने कहा कि कांग्रेस में हमारे पास इसी तरह का उदार नेतृत्व था.

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