National Herald Case: गौर करने वाली बात है कि हाल ही में इस मामले में ईडी ने एक आरोप पत्र दाखिल किया था. नेशनल हेराल्ड मामले में ईडी ने साल 2021 में जांच शुरु की थी.
National Herald Case: नेशनल हेराल्ड केस में गांधी परिवार मुश्किलों में घिरा हुआ है. दिल्ली की राउज अवेन्यू कोर्ट ने सोनिया गांधी और राहुल गांधी के ऊपर संज्ञान लिया है और दोनों के विरुद्ध नोटिस जारी किया है. इस मामले पर संज्ञान लेते हुए स्पेशल जज विशाल गोगने ने बताया कि चार्जशीट पर जिस समय संज्ञान लिया जाएगा उस समय सोनिया और राहुल अपने पक्ष को रख सकते हैं, इसका उनको अधिकार है. इसके बाद अगली सुनवाई की तारीख 8 मई को मुकर्रर की गई है.
कब सामने आया था ये मामला ?
गौर करने वाली बात है कि हाल ही में इस मामले में ईडी ने एक आरोप पत्र दाखिल किया था. नेशनल हेराल्ड मामले में ईडी ने साल 2021 में जांच शुरु की थी. BJP नेता सुब्रमण्यम स्वामी ने इस केस में 26 जून 2014 में एक शिकायत दर्ज कराई थी. जिसके बाद से ही ईडी और भारतीय जांच एजेसियां लगातार जांच में जुटी हैं.
क्या है नेशनल हेराल्ड केस ?
नेशनल हेराल्ड मामला 1938 में पंडित जवाहरलाल नेहरू द्वारा स्थापित नेशनल हेराल्ड अखबार और इसके प्रकाशक एसोसिएटेड जर्नल्स लिमिटेड (AJL) से जुड़ा है. यह अखबार स्वतंत्रता संग्राम के दौरान कांग्रेस का मुखपत्र था और हिंदी में नवजीवन तथा उर्दू में कौमी आवाज जैसे अन्य प्रकाशनों को भी संचालित करता था. 2008 तक, एजेएल भारी वित्तीय संकट में फंस गया और उस पर 90 करोड़ रुपये से अधिक का कर्ज चढ़ गया, जिसके चलते अखबार का प्रकाशन बंद हो गया. इसके बाद, कांग्रेस पार्टी ने एजेएल को 90 करोड़ रुपये का ऋण दिया, जिसे बाद में यंग इंडियन लिमिटेड नामक कंपनी को मात्र 50 लाख रुपये में हस्तांतरित कर दिया गया. जानकारी के अनुसार यंग इंडियन में सोनिया गांधी और राहुल गांधी की 76 प्रतिशत शेयर हैं, उसकी एजेएल की करीब 2000 करोड़ की संपत्तियों में हिस्सेदारी है, उसपर नियंत्रण हासिल कर लिया.
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