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बिहार में डबल इंजन सरकार की कल्याणकारी नीतियों पर ‘विश्वास की मुहर’, जन सुराज का नहीं खुला खाता

by Sanjay Kumar Srivastava
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Bihar Election: भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने शुक्रवार को बिहार चुनाव में NDA की जीत को ऐतिहासिक बताया.

Bihar Election: भाजपा के राष्ट्रीय अध्यक्ष जेपी नड्डा ने शुक्रवार को बिहार चुनाव में NDA की जीत को ऐतिहासिक बताया. कहा कि यह प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और मुख्यमंत्री नीतीश कुमार की डबल इंजन सरकार की विकास और कल्याणकारी नीतियों के प्रति विश्वास की मुहर है. नड्डा ने कहा कि चुनाव में एनडीए को मिला प्रचंड बहुमत इस बात का भी प्रमाण है कि बिहार के लोगों ने महागठबंधन के ‘जंगल राज’ और भ्रष्टाचार को पूरी तरह से खारिज कर दिया है. जनता ने सत्तारूढ़ गठबंधन के सुशासन, स्थिरता और विकास के मॉडल को अपनाया है. भाजपा प्रमुख ने कहा कि बिहार में राष्ट्रीय जनतांत्रिक गठबंधन ( NDA) को मिला ऐतिहासिक जनसमर्थन प्रधानमंत्री मोदी और मुख्यमंत्री कुमार की डबल इंजन सरकार की विकासोन्मुखी और लोक कल्याणकारी नीतियों पर लोगों के विश्वास की मुहर है. उन्होंने कहा कि यह अभूतपूर्व जनादेश बिहार को एक विकसित राज्य और भारत को एक विकसित देश बनाने के राजग के संकल्प को पूरा करने के लिए एक ठोस रूप देगा.

JSP को मिले 10% से भी कम वोट

NDA बिहार विधानसभा चुनाव में कुल 243 सीटों में से लगभग 200 सीटों पर बढ़त बनाकर जीत हासिल करने के लिए तैयार है. जिसमें भाजपा लगभग 95 प्रतिशत स्ट्राइक रेट के साथ सबसे बड़ी पार्टी के रूप में उभरी. महागठबंधन, जिसमें राजद, कांग्रेस और तीन वामपंथी दल शामिल हैं, 35 सीटों के आंकड़े को पार करने के लिए संघर्ष कर रहा है. बिहार चुनाव में ‘एक्स फैक्टर’ कही जा रही प्रशांत किशोर की जन सुराज पार्टी (JSP) 243 सदस्यीय विधानसभा में अभी तक अपना खाता नहीं खोल पाई है. चुनाव आयोग के पास उपलब्ध रुझानों के अनुसार, जेएसपी के अधिकांश उम्मीदवारों को कुल मतदान के 10 प्रतिशत से भी कम वोट मिले हैं. पूर्व राजनीतिक रणनीतिकार द्वारा गठित यह पार्टी, जोरदार प्रचार अभियान और बेरोजगारी, पलायन तथा उद्योगों की कमी जैसे मुद्दों को उठाने के बावजूद अपने पक्ष में वोट जुटाने में विफल रही. आयोग के आंकड़ों के अनुसार, 238 निर्वाचन क्षेत्रों में जेएसपी के अधिकांश उम्मीदवार अपनी जमानत राशि गंवाने के कगार पर हैं. नियमों के अनुसार, उम्मीदवारों को अपनी जमानत राशि वापस पाने के लिए कुल डाले गए वोटों का कम से कम छठा हिस्सा हासिल करना होता है .

कई JSP उम्मीदवारों की जमानत जब्त

सामान्य उम्मीदवारों के लिए 10,000 रुपये, एससी और एसटी उम्मीदवारों के लिए 5,000 रुपये जमानत राशि है. एक अधिकारी ने बताया कि इस सीमा को पूरा न करने पर ज़मानत ज़ब्त हो जाएगी. फोर्ब्सगंज विधानसभा सीट से जेएसपी उम्मीदवार मोहम्मद एकरामुल हक को 24वें दौर की मतगणना के बाद सिर्फ 789 वोट मिले, जबकि नोटा के तहत 2,253 वोट दर्ज किए गए. 10 प्रतिशत से अधिक वोट पाने वाले बहुत कम जेएसपी उम्मीदवारों में 18वें दौर की मतगणना के बाद चनपटिया सीट से त्रिपुरारी कुमार तिवारी उर्फ ​​मनीष कश्यप (16.58 प्रतिशत) और 23वें दौर के बाद जोकीहाट सीट से सरफराज आलम (16.34 प्रतिशत) शामिल हैं. किशोर ने पहले दावा किया था कि उनकी पार्टी 150 सीटें जीतेगी, लेकिन बाद में उन्होंने कहा कि वह सीटों की संख्या में या तो सबसे ऊपर होंगे या सबसे नीचे, लेकिन बिहार चुनाव में कोई बीच का रास्ता नहीं है. इस बीच जेएसपी प्रवक्ता पवन के वर्मा ने कहा कि पार्टी बिहार चुनाव में अपने प्रदर्शन की गंभीर समीक्षा करेगी.

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