Home Latest मुंबई हमले का दोषी अंडरवर्ल्ड सरगना अबू सलेम ने कोर्ट से लगाई गुहार, कहा- 25 साल से जेल में बंद, अब करें रिहा

मुंबई हमले का दोषी अंडरवर्ल्ड सरगना अबू सलेम ने कोर्ट से लगाई गुहार, कहा- 25 साल से जेल में बंद, अब करें रिहा

by Sanjay Kumar Srivastava
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Abu Salem Appeals to Court for Early Release

महाराष्ट्र सरकार ने बॉम्बे हाईकोर्ट को सूचित किया है कि प्रत्यर्पित गैंगस्टर अबू सलेम की समयपूर्व रिहाई का प्रस्ताव विचाराधीन है और इस पर जल्द ही निर्णय लिया जाएगा.

Mumbai: 1993 के बंबई शृंखलाबद्ध बम विस्फोट मामले में दोषी ठहराए गए अंडरवर्ल्ड सरगना अबू सलेम की समयपूर्व जल्द रिहाई हो सकती है.अपनी सजा में छूट और नासिक रोड केन्द्रीय कारागार से समयपूर्व रिहाई के लिए सलेम ने बम्बई उच्च न्यायालय में याचिका दायर कर रखी है. आतंकवादी और विघटनकारी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम अदालत ने मुंबई 1993 के बम धमाकों के मामले में अबू सलेम को आजीवन कारावास की सजा सुनाई है. याचिकाकर्ता ने आग्रह किया कि वह भारत और पुर्तगाल के बीच प्रत्यर्पण संधि की प्रक्रिया के अनुसार पहले ही 25 वर्ष कारावास की सजा काट चुका है, इसलिए उसे कानून के अनुसार छूट दी जानी चाहिए और जेल से रिहा किया जाना चाहिए.

सरकार ने कहा- पुर्तगाल से प्रत्यर्पित होने के बाद सलेम ने जेल में बिताए केवल 19 साल

उधर,महाराष्ट्र सरकार ने बॉम्बे हाईकोर्ट को सूचित किया है कि प्रत्यर्पित गैंगस्टर अबू सलेम की समयपूर्व रिहाई का प्रस्ताव विचाराधीन है और इस पर जल्द ही निर्णय लिया जाएगा. सरकार ने दोषी गैंगस्टर की जेल से रिहाई की याचिका के जवाब में अपने हलफनामे में कहा है कि नवंबर 2005 में पुर्तगाल से प्रत्यर्पित होने के बाद से सलेम ने जेल में केवल 19 साल बिताए हैं. राज्य सरकार ने बुधवार को न्यायमूर्ति गिरीश कुलकर्णी और न्यायमूर्ति अद्वैत सेठना की पीठ के समक्ष सलेम की याचिका के जवाब में दो हलफनामे पेश किए. वकील फरहाना शाह के माध्यम से दायर अपनी याचिका में सलेम ने दावा किया कि यदि अच्छे आचरण के लिए छूट को शामिल किया जाए तो वह पहले ही 25 साल कारावास की सजा काट चुका है.

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सलेम की समयपूर्व रिहाई का प्रस्ताव विचाराधीन

गृह विभाग के संयुक्त सचिव सुग्रीव धपटे द्वारा दायर हलफनामे में राज्य सरकार ने कहा कि सलेम की समयपूर्व रिहाई का प्रस्ताव विचाराधीन है और जल्द ही इस पर निर्णय लिया जाएगा. सरकारी हलफनामे के अनुसार, सलेम को नवंबर 2005 में पुर्तगाल से प्रत्यर्पित किया गया था और 28 फरवरी, 2025 तक उसकी वास्तविक कारावास की सजा 19 वर्ष, तीन महीने और 20 दिन थी.

अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक और जेल महानिरीक्षक सुहास वारके द्वारा दायर एक अन्य हलफनामे में कहा गया है कि महाराष्ट्र जेल मैनुअल के प्रावधानों के अनुसार, सलेम की समयपूर्व रिहाई का प्रस्ताव सलाहकार बोर्ड और ट्रायल कोर्ट की राय के साथ राज्य सरकार को मंजूरी के लिए प्रस्तुत किया गया था. वारके ने हलफनामे में कहा कि याचिकाकर्ता अबू सलेम का इतिहास बिल्कुल भी अच्छा नहीं है. उसने भारत में कई अपराध किए हैं. इसके बाद वह विदेश भाग गया.

सलेम को 1993 के बम विस्फोट मामले सहित दो मामलों में ठहराया गया है दोषी

हलफनामे के अनुसार, सलेम को 1993 के बम विस्फोट मामले सहित दो मामलों में दोषी ठहराया गया है और आजीवन कारावास की सजा सुनाई गई है. इसमें कहा गया है कि मार्च 2025 तक सलेम 19 साल की कैद काट चुका है और इसलिए 25 साल की अवधि अभी पूरी नहीं हुई है. पीठ ने मामले की सुनवाई जून में तय की है.

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