India Day Parade: सिएटल में आयोजित यह पहली इंडिया डे परेड केवल एक सांस्कृतिक कार्यक्रम नहीं थी, बल्कि भारत और अमेरिका के बीच मित्रता और साझेदारी की गूंज थी.
India Day Parade: भारत की आज़ादी के 79वें वर्ष को यादगार बनाने के लिए अमेरिका के सिएटल शहर में पहली बार इंडिया डे परेड का आयोजन किया गया. भारतीय वाणिज्य दूतावास के तत्वावधान में आयोजित इस भव्य परेड ने भारत के सभी 28 राज्यों की संस्कृति, कला और परंपराओं को सजीव रूप में प्रस्तुत किया. परेड की शुरुआत भारतीय वाणिज्य दूतावास के कॉन्सुल जनरल प्रकाश गुप्ता और सिएटल के मेयर ब्रूस हैरेल ने झंडी दिखाकर की, जिसके साथ ही आकाश में तिरंगे गुब्बारे उड़कर इस ऐतिहासिक क्षण को और विशेष बना गए.
संस्कृति और परंपराओं का संगम
सिएटल की सड़कों पर हजारों भारतीय-अमेरिकियों ने झांकियों और सांस्कृतिक प्रस्तुतियों के जरिए भारत की एकता में विविधता की अद्भुत झलक पेश की. परेड में गुजरात का गरबा, महाराष्ट्र की लावणी, आंध्र प्रदेश की कुचिपुड़ी, ओडिशा का ‘बोइता बंदाना’ और पश्चिम बंगाल की झांकी में स्वामी विवेकानंद के आदर्शों का संदेश शामिल था. इंडिया पैविलियन ने सबसे ज़्यादा आकर्षण बटोरा, जहां 30 से अधिक स्टॉल्स पर हर राज्य और केंद्र शासित प्रदेश का वन डिस्ट्रिक्ट वन प्रोडक्ट (ODOP) प्रदर्शित किया गया. इन स्टॉल्स पर पारंपरिक कलाकृतियां, ऐतिहासिक वस्तुएँ और विभिन्न व्यंजनों ने आगंतुकों को भारत की आत्मा से जोड़ दिया.
अमेरिकी नेताओं का सम्मान और भारत की साझेदारी
इस मौके पर मौजूद सिएटल के मेयर ब्रूस हैरेल ने कहा कि अमेरिका को भारत से प्रेम, करुणा और अहिंसा का संदेश सीखना चाहिए. उन्होंने भारतीय-अमेरिकी समुदाय को सिएटल की प्रगति और तकनीकी उत्कृष्टता में महत्वपूर्ण भागीदार बताया. अमेरिकी कांग्रेस सदस्य एडम स्मिथ ने अपने संबोधन में कहा कि शांति और सुरक्षा की दिशा में अमेरिका का सबसे भरोसेमंद साझेदार भारत है. समारोह में सिएटल पोर्ट कमिश्नर, किंग काउंटी काउंसिल मेंबर, वॉशिंगटन सुप्रीम कोर्ट जस्टिस और कई नगरपालिकाओं के मेयर सहित अनेक गणमान्य अतिथि मौजूद थे.
ऐतिहासिक क्षण और भावनात्मक जुड़ाव
कार्यक्रम की शुरुआत वैदिक मंत्रोच्चार और भारत-अमेरिका के राष्ट्रगान से हुई. इसके बाद प्रस्तुत किए गए नाट्यम: ए डांस मोज़ेक ऑफ भारत ने भारतीय शास्त्रीय और लोकनृत्यों की विविधता से दर्शकों को मंत्रमुग्ध कर दिया। खास आकर्षण था बीट्स ऑफ वॉशिंगटन का जोशीला प्रदर्शन, जिसने छत्रपति शिवाजी महाराज की वीरता को मंच पर जीवंत कर दिया. परेड से कुछ ही दिन पहले, 15 अगस्त को, भारतीय तिरंगा पहली बार सिएटल के मशहूर स्पेस नीडल पर फहराया गया था, यह पहला अवसर था जब किसी विदेशी राष्ट्र का ध्वज इस अमेरिकी धरोहर पर लहराया.
भारत के हर राज्य की कला, नृत्य, भाषा और परंपराएं जब एक मंच पर आईं, तो यह परेड भारतीय प्रवासियों के लिए गर्व और जुड़ाव का ऐसा उत्सव बन गई, जिसने सचमुच भारत की एकता में विविधता की आत्मा को जीवंत कर दिया.
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