Home Top News Chinnaswamy Stampede: पुलिस को थी भीड़ की जानकारी, फिर क्यों बिगड़ा आयोजन?

Chinnaswamy Stampede: पुलिस को थी भीड़ की जानकारी, फिर क्यों बिगड़ा आयोजन?

by Rishi
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Stampede at Chinnaswamy: Who’s to Blame?

Chinnaswamy Stampede: हादसे के बाद आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू हो गया है. कई लोग खराब आयोजन और प्रशासन की लापरवाही को इस त्रासदी का कारण मान रहे हैं.

Chinnaswamy Stampede: बेंगलुरु में बुधवार, 5 जून 2025 को एक बड़ा हादसा हुआ, जब एम. चिन्नास्वामी क्रिकेट स्टेडियम के बाहर रॉयल चैलेंजर्स बेंगलुरु (RCB) की IPL 2025 की जीत के जश्न के दौरान भगदड़ मच गई. इस दुखद घटना में 11 लोगों की मौत हो गई और 50 से अधिक लोग घायल हुए, जिनमें से कई की हालत गंभीर है. यह हादसा RCB की विजय परेड से ठीक पहले हुआ, जिसका आयोजन स्टेडियम में होना था. स्टेडियम के गेट खुलते ही भारी भीड़ ने अंदर प्रवेश करने की कोशिश की, जिसके कारण यह भगदड़ मची. इस घटना ने प्रशासनिक व्यवस्था और बेंगलुरु की ट्रैफिक स्थिति पर गंभीर सवाल खड़े किए हैं.

लोग दीवारें फांदकर और पेड़ों पर चढ़कर बैठे थे

हादसे के बाद आरोप-प्रत्यारोप का दौर शुरू हो गया है. कई लोग खराब आयोजन और प्रशासन की लापरवाही को इस त्रासदी का कारण मान रहे हैं. प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, स्टेडियम के बाहर इतनी भीड़ थी कि लोग दीवारें फांदकर और पेड़ों पर चढ़कर स्टेडियम में प्रवेश करने की कोशिश कर रहे थे. कर्नाटक के उपमुख्यमंत्री डी.के. शिवकुमार ने कहा, “भीड़ बेकाबू थी, पुलिस को स्थिति संभालने में कठिनाई हुई, इसलिए कार्यक्रम को जल्दी समाप्त करना पड़ा.” उन्होंने यह भी बताया कि 5,000 से अधिक सुरक्षाकर्मी तैनात किए गए थे, लेकिन भीड़ की उग्रता को नियंत्रित करना मुश्किल हो गया.

पुलिस ने नहीं दी थी विक्टरी परेड की इजाजत

RCB ने मंगलवार को अहमदाबाद में पंजाब किंग्स को 6 रनों से हराकर 18 साल बाद अपनी पहली IPL ट्रॉफी जीती थी. इस ऐतिहासिक जीत का जश्न मनाने के लिए बेंगलुरु में एक ‘ओपन बस परेड’ का आयोजन प्रस्तावित था, जो विधानसभा से चिन्नास्वामी स्टेडियम तक जानी थी. हालांकि, शहर की खराब ट्रैफिक व्यवस्था और सुरक्षा चिंताओं के कारण इस परेड को रद्द कर दिया गया, और उत्सव को स्टेडियम के अंदर सीमित करने का फैसला लिया गया. पुलिस ने दोपहर 3 बजे से रात 8 बजे तक सेंट्रल बिजनेस डिस्ट्रिक्ट (CBD) क्षेत्र में भारी भीड़ और ट्रैफिक जाम की आशंका जताते हुए लोगों से मेट्रो और सार्वजनिक परिवहन का उपयोग करने की सलाह दी थी.

बैंगलुरु की ट्रैफिक व्यवस्था का नहीं हुआ विकास

बेंगलुरु के संयुक्त पुलिस आयुक्त (ट्रैफिक) एम.एन. अनुचेथ ने बताया कि बेंगलुरु देश के सबसे अधिक वाहन घनत्व वाले शहरों में से एक है. 1.5 करोड़ की आबादी के लिए 1.23 करोड़ पंजीकृत वाहन हैं, यानी प्रति 1,000 लोगों पर 872 वाहन. यह संख्या मुंबई और दिल्ली से भी अधिक है. पिछले एक दशक में वाहनों की संख्या में 8% की वार्षिक वृद्धि हुई, लेकिन सड़कों का विस्तार नहीं हुआ. अनुचेथ ने बताया कि 2000 के दशक में आईटी बूम के बाद बेंगलुरु का तेजी से विकास हुआ, लेकिन बुनियादी ढांचा आबादी और वाहनों की बढ़ती संख्या के अनुरूप नहीं बढ़ा.

बैंगलुरु नहीं संभाल पा रहा ट्रैफिक

बेंगलुरु का ट्रैफिक अब एक मजाक बन चुका है, लेकिन यह रोजमर्रा की जिंदगी में भारी परेशानी का कारण है. टॉमटॉम ट्रैफिक इंडेक्स के अनुसार, बेंगलुरु दुनिया में तीसरे सबसे खराब ट्रैफिक वाले शहरों में शामिल है, जहां 10 किलोमीटर की दूरी तय करने में औसतन 34 मिनट से अधिक समय लगता है. अनुचेथ ने बताया कि भारी वाहनों के लिए समर्पित टर्मिनल की कमी भी एक बड़ी समस्या है. इसके कारण भारी मालवाहक वाहन शहर की सड़कों पर आ जाते हैं, जिससे प्रमुख जंक्शनों और फ्लाईओवरों पर जाम लग जाता है.

इस हादसे ने बेंगलुरु की ट्रैफिक और भीड़ प्रबंधन की कमियों को उजागर किया है. कर्नाटक के मुख्यमंत्री सिद्धारमैया ने मृतकों के परिवारों के लिए 10 लाख रुपये की सहायता और घायलों के लिए मुफ्त इलाज की घोषणा की है. साथ ही, उन्होंने इस घटना की मजिस्ट्रियल जांच के आदेश दिए हैं. BCCI के उपाध्यक्ष राजीव शुक्ला और सचिव देवजीत सैकिया ने आयोजकों की लापरवाही पर सवाल उठाए, यह कहते हुए कि बेहतर योजना से इस त्रासदी को टाला जा सकता था.

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