Home Latest News & Updates ‘संचार साथी’ पर सियासत तेज! आपके फोन में आ रहे इस नए ऐप को नहीं कर सकते डिलीट, विपक्ष ने मचाया बवाल

‘संचार साथी’ पर सियासत तेज! आपके फोन में आ रहे इस नए ऐप को नहीं कर सकते डिलीट, विपक्ष ने मचाया बवाल

by Live Times
0 comment
Sanchar Saathi

Sanchar Saathi: डिपार्टमेंट ऑफ टेलीकॉम ने मोबाइल हैंडसेट बनाने वाली सभी कंपनियों को यह निदेश दिया है कि 90 दिनों के अंदर भारत में बनने वाले सभी मोबाइलों में ‘संचार साथी’ ऐप पहले से इंस्टाल हो.

2 December, 2025

Sanchar Saathi: मोबाइल सुरक्षा और ऑनलाइन स्कैम को रोकने के लिए भारत सरकार ने बड़ा फैसला लिया है. डिपार्टमेंट ऑफ टेलीकॉम ने मोबाइल हैंडसेट बनाने वाली और इंपोर्ट करने वाली सभी कंपनियों को यह निर्देश दिया है कि उनका फ्रॉड रिपोर्टिंग ऐप ‘संचार साथी’ 90 दिनों के अंदर सभी नए डिवाइस में पहले से इंस्टॉल हो. 28 नवंबर के निर्देश के मुताबिक, ऑर्डर जारी होने की तारीख से 90 दिनों के बाद भारत में बनने वाले या इंपोर्ट किए जाने वाले सभी मोबाइल फोन में यह ऐप होना जरूरी होगा.

90 दिनों में सभी मोबाइल में आ जाएगा ऐप

ऑर्डर में कहा गया है, “निर्देशों के जारी होने के 90 दिनों के अंदर, यह पक्का करें कि DoT द्वारा बताया गया संचार साथी मोबाइल एप्लीकेशन, भारत में इस्तेमाल के लिए बने या इंपोर्ट किए गए सभी मोबाइल में पहले से इंस्टॉल हो. ऐसे सभी डिवाइस जो पहले ही बन चुके हैं, उनमें सॉफ्टवेयर अपडेट के जरिए इस ऐप को इंस्टाल किया जाएगा. निर्देश में कहा गया है कि भारत में इस्तेमाल होने वाले मोबाइल हैंडसेट के सभी मैन्युफैक्चरर और इंपोर्टर इन निर्देशों के जारी होने के 120 दिनों के अंदर DoT को कम्प्लायंस रिपोर्ट जमा करेंगे.”

किस काम आएगा संचार साथी ऐप

यह ऐप यूजर्स को संदिग्ध कॉल्स की रिपोर्ट करने और मोबाइल डिवाइस में इस्तेमाल होने वाले IMEI को वेरिफाई करने में मदद मिलेगी. संचार साथी के जरिए फ्रॉड कॉल, खोए हुए मोबाइल फोन के बारे में भी रिपोर्ट कर सकते हैं और उसे ट्रेस कर सकते हैं. मोबाइल फोन के 15-डिजिट वाले IMEI नंबर सहित टेलीकॉम आइडेंटिफायर के साथ छेड़छाड़ करना नॉन-बेलेबल अपराध है और इसके लिए टेलीकम्युनिकेशन एक्ट 2023 के तहत तीन साल तक की जेल, 50 लाख रुपये तक का जुर्माना या दोनों हो सकते हैं.

कांग्रेस ने जताया विरोध

कांग्रेस जनरल सेक्रेटरी के सी वेणुगोपाल ने कहा कि प्राइवेसी का अधिकार, जीवन और स्वतंत्रता के मौलिक अधिकार का एक जरूरी हिस्सा है. “बिग ब्रदर हमें नहीं देख सकता. DoT का यह निर्देश असंवैधानिक से भी परे है. प्राइवेसी का अधिकार, संविधान के आर्टिकल 21 में दिए गए जीवन और स्वतंत्रता के मौलिक अधिकार का एक जरूरी हिस्सा है. एक प्री-लोडेड सरकारी ऐप जिसे अनइंस्टॉल नहीं किया जा सकता, हर भारतीय पर नजर रखने का एक डरावना टूल है. वेणुगोपाल ने कहा, “हम इस निर्देश को खारिज करते हैं और इसे तुरंत वापस लेने की मांग करते हैं.”

यह भी पढ़ें- NH केस में राहुल-सोनिया के खिलाफ FIR पर भड़के सिद्धारमैया-शिवकुमार, कहा- परेशान करने की हद होती है

You may also like

LT logo

Feature Posts

Newsletter

@2025 Live Time. All Rights Reserved.

Are you sure want to unlock this post?
Unlock left : 0
Are you sure want to cancel subscription?