Home राजनीति दो राज्यों में चुनाव को लेकर तेज हुई सियासत, जानें सत्ता पाने और बचाने के लिए क्या हो रही कोशिशें

दो राज्यों में चुनाव को लेकर तेज हुई सियासत, जानें सत्ता पाने और बचाने के लिए क्या हो रही कोशिशें

by Divyansh Sharma
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Politics intensified regarding elections in two states, know what efforts are being made to gain and save power

Jammu-Kashmir and Haryana Assembly Election: हरियाणा और जम्मू कश्मीर के चुनाव में हर दिन राजनीतिक घमासान की तेज होती दिख रही है.

हरियाणा और जम्मू कश्मीर के चुनाव में हर दिन राजनीतिक घमासान की तेज होती दिख रही है. सभी राजनीतिक दलों के अपने-अपने वादे, अपने-अपने राग हैं. जहां हरियाणा में भारतीय जनता पार्टी सत्ता बचाने के कवायद में जुटी है, तो वहीं कांग्रेस सत्ता हथियाने के लिए एड़ी चोटी का जोर लगाए हुए है. इसी के साथ जम्मू कश्मीर में क्षेत्रीय पार्टियां सरकार बनाने में की बड़ी भूमिका निभाती दिख रही हैं. इसे लेकर कर सियासी बयानबाजी भी तेज हो गई हैं.

कश्मीर के बच्चों को गुमराह किया गया- BJP

भारतीय जनता पार्टी के नेता दुष्यंत गौतम ने भी इस पर बड़ा बयान दिया है. उन्होंने उन्होंने दावा करते हुए कहा कि दोनों राज्यों में हम अपनी सरकार बना रहे है. आज जम्मू कश्मीर में युवाओं के हाथ में पत्थर की जगह लैपटॉप है. यह जम्मू-कश्मीर में धारा 370 और 35-A हटाए जाने का परिणाम है. उन्होंने आगे कहा कि अब वहां की जनता को तय करना होगा कि टूरिज्म को बढ़ाना देना है या आतंक को बढ़ावा देना है. कांग्रेस और नेशनल कॉन्फ्रेंस का गठबंधन चोर-चोर मौसेले भाई जैसा है. उन्होंने आरोप लगाते हुए कहा कि किसी भी तरह से मोदी सरकार को रोकना, इनका उद्देश्य है. उन्होंने कहा कि जम्मू कश्मीर में यह दल आपस में विशेष दर्जा लेकर कश्मीर के बजट में बंदरबांट करते थे. अपने बच्चों को विदेशों में भेज कर कश्मीर के बच्चों को गुमराह किया गया था. अब इनका दांव चलने वाला नहीं है. उन्होंने दावा किया कि जम्मू कश्मीर में किसी तरह का BJP में अंतरकलह नहीं है.

‘कांग्रेस अपने मेनिफेस्टो पर लड़ेगी चुनाव’

वहीं, इस मामले पर कांग्रेस के राष्ट्रीय प्रवक्ता उदित राज ने कहा कि कांग्रेस का एजेंडा है कि किसी भी सूरत में जम्मू-कश्मीर में सांप्रदायिक सद्भाव बना रहे. उन्होंने कहा कि लोकतांत्रिक ढंग से संविधान के तहत राज्य चलना चाहिए. जब से उपराज्यपाल के माध्यम से BJP की हुकूमत आई है, तब से SC-ST के साथ भेदभाव शुरू हुआ है. आरक्षण का लाभ नहीं मिल रहा है. जहां तक बात है कांग्रेस की ओर से प्रत्याशियों की लिस्ट जारी करने की, तो वह जल्द ही हो जाएगा. उदित राज ने कहा कि पार्टी विपक्ष का समीकरण देख रहे हैं. उसी हिसाब से अपने कैंडिडेट उतारेंगे. महबूबा मुफ्ती की PDP और उमर अब्दुला की नेशनल कांफ्रेंस के 370 और 35-A वापस लागू करने के दावे पर उदित राज ने कहा कि यह उन पार्टियों का चुनावी एजेंडा हो सकता है. इसका कांग्रेस से कोई लेना देना नहीं है. उन्होंने कहा कि उसके मुद्दों से कांग्रेस का कोई वास्ता नहीं है. कांग्रेस अपने मेनिफेस्टो पर चुनाव लड़ेगी.

BJP में भगदड़ मची हुई है- कांग्रेस

वहीं, हरियाणा को लेकर उदित राज बोल कि हरियाणा में पूरी तरह से कांग्रेस के फेवर में माहौल है. BJP में भगदड़ मची हुई है. हरियाणा में आम आदमी पार्टी का इस समय कोई अस्तित्व नहीं है. हरियाणा के लोगों को पूरी उम्मीद है कि कांग्रेस सत्ता में आएगी. उन्होंने कहा कि ऐसे में तमाम दावेदार हैं, जो टिकट चाहते हैं. कांग्रेस इसको लेकर के मंथन कर रही है और बहुत जल्द निर्णय लेगी. बता दें कि 10 साल बाद जम्मू-कश्मीर में चुनाव हो रहे हैं. सभी की निगाहें जम्मू-कश्मीर पर टिकी हुई हैं. खासतौर से तब, जब जम्मू-कश्मीर में ना तो धारा 370 बची है और ना ही 35-A. इसी के साथ दावे किए जा रहे हैं कि जम्मू कश्मीर में हुए परिसीमन का फायदा BJP को मिला सकता है. लेकिन अकेले दम पर सरकार बनाना मुश्किल लग रहा है. वहीं, हरियाणा में BJP को अपने सत्ता बचाने के लिए तमाम कोशिशें करनी पड़ रही हैं

इनपुट- आदित्य द्विवेदी

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