Home Latest News & Updates देशभर में PPP मॉडल पर बनेंगे 100 सैनिक स्कूल, युवाओं को सशस्त्र बलों में मिलेगा सेवा का अवसर

देशभर में PPP मॉडल पर बनेंगे 100 सैनिक स्कूल, युवाओं को सशस्त्र बलों में मिलेगा सेवा का अवसर

by Sanjay Kumar Srivastava
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Sainik School

Sainik Schools: केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने गुरुवार को कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में केंद्र सरकार ने सार्वजनिक-निजी भागीदारी (PPP) मोड पर देशभर में 100 नए सैनिक स्कूल स्थापित करने का निर्णय लिया है.

Sainik Schools: केंद्रीय गृह मंत्री अमित शाह ने गुरुवार को कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में केंद्र सरकार ने सार्वजनिक-निजी भागीदारी (PPP) मोड पर देशभर में 100 नए सैनिक स्कूल स्थापित करने का निर्णय लिया है. श्री शाह ने यह घोषणा वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से श्री मोतीभाई आर चौधरी सागर सैनिक स्कूल और सागर ऑर्गेनिक प्लांट के उद्घाटन समारोह के दौरान की. उन्होंने कहा कि इन स्कूलों से गुजरात सहित देशभर के विद्यार्थियों को सशस्त्र बलों में करियर बनाने के अवसर मिलेंगे.अमित शाह ने कहा कि इस तरह के सैनिक स्कूल न केवल शिक्षा के क्षेत्र में नया अध्याय लिखेंगे, बल्कि युवाओं में देशभक्ति और अनुशासन की भावना भी मजबूत करेंगे. शाह ने कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के नेतृत्व में केंद्र ने पीपीपी मॉडल के तहत देश भर में 100 नए सैनिक स्कूल स्थापित करने का फैसला किया है. इनमें से मोतीभाई चौधरी सैनिक स्कूल निश्चित रूप से मेहसाणा के लिए गौरव का प्रतीक बनेगा.

स्वस्थ रहने के लिए जैविक उत्पादों का करें उपयोग

इस मौके पर शाह ने कहा कि लगभग 30 मीट्रिक टन की दैनिक क्षमता वाला सागर ऑर्गेनिक प्लांट राष्ट्रीय जैविक उत्पादन कार्यक्रम (एनपीओपी) और कृषि एवं प्रसंस्कृत खाद्य उत्पाद निर्यात विकास प्राधिकरण (एपीडा) द्वारा प्रमाणित है. एपीडा प्रमाणन के कारण उत्तर गुजरात में प्राकृतिक खेती में लगे किसानों को बहुत लाभ होगा क्योंकि उनकी उपज वैश्विक बाजारों तक पहुँच सकेगी. केंद्रीय सहकारिता मंत्री ने कहा कि इस जैविक संयंत्र के विस्तार से न केवल देश भर के नागरिकों के स्वास्थ्य में सुधार होगा, बल्कि जैविक खेती से जुड़े किसानों की आय में भी वृद्धि होगी. उन्होंने जैविक खेती में लगे सभी किसानों और उनके परिवारों से स्वस्थ रहने के लिए जैविक उत्पादों का उपयोग करने का आग्रह किया. शाह ने कहा कि 1960 में दूधसागर डेयरी प्रतिदिन 3,300 लीटर दूध एकत्र करती थी, जो अब बढ़कर 35 लाख लीटर प्रतिदिन हो गई है. यह डेयरी गुजरात के 1,250 गांवों के पशुपालकों और राजस्थान, हरियाणा, मध्य प्रदेश, उत्तर प्रदेश और हिमाचल प्रदेश के 10 लाख से अधिक दूध उत्पादन समूहों से जुड़ी हुई है.

किसानों के साथ है गुजरात सरकार

उन्होंने कहा कि इसका कारोबार 8,000 करोड़ रुपये तक पहुंच गया है. आठ आधुनिक डेयरियों, दो दूध शीतलन केंद्रों, दो पशु चारा संयंत्रों और एक सीमेंट उत्पादन इकाई के साथ, दूधसागर डेयरी आज गुजरात की श्वेत क्रांति में एक प्रमुख भूमिका निभाती है. शाह ने कहा कि इस डेयरी की चक्रीय अर्थव्यवस्था को बढ़ावा देने के लिए कई पहल की गई हैं, जिसमें देश भर में 75,000 नई प्राथमिक डेयरी सहकारी समितियों का गठन शामिल है. शाह ने कहा कि मोदी सरकार यह सुनिश्चित करेगी कि सहकारी समितियों द्वारा उत्पादित 50 प्रतिशत दूध राष्ट्रीय और अंतर्राष्ट्रीय बाजारों तक पहुंचे, जिससे पशुपालकों को लाभ हो. यह सुनिश्चित करने के लिए कि चक्रीय अर्थव्यवस्था का लाभ पशुपालकों तक पहुंचे, मोदी सरकार ने तीन बहु-राज्य सहकारी समितियों की स्थापना की है. उन्होंने यह भी कहा कि अमूल का 70 प्रतिशत कुल कारोबार महिलाओं के योगदान से आता है. इस वर्ष गुजरात में बेमौसम भारी वर्षा हुई. प्रभावित किसानों की सहायता के लिए भूपेंद्र पटेल सरकार ने बहुत उदार राहत पैकेज की घोषणा की है. गुजरात सरकार ने संकल्प लिया है कि वह किसानों की मदद करने से पीछे नहीं हटेगी.

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