Home Latest महाराष्ट्र में ANTF तोड़ेगी ड्रग्स माफियाओं की कमर, वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी शारदा राउत बनें पहले प्रमुख

महाराष्ट्र में ANTF तोड़ेगी ड्रग्स माफियाओं की कमर, वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी शारदा राउत बनें पहले प्रमुख

by Sanjay Kumar Srivastava
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Anti Narcotics Task Force

नवगठित एंटी-नारकोटिक्स टास्क फोर्स विशेष रूप से पूरे महाराष्ट्र और अंतर-राज्यीय मादक पदार्थ तस्करी नेटवर्क से जुड़े मामलों से निपटेगा.

Mumbai: महाराष्ट्र में नशीले और मादक पदार्थों पर पूरी तरह से रोक लगाने के लिए फडणवीस सरकार ने कमर कस ली है. सरकार का मानना है कि नशीले पदार्थों से अपराध को बढ़ावा मिलता है. सरकार ने इस पर पूरी तरह से नकेल कसने के लिए एंटी-नारकोटिक्स टास्क फोर्स (ANTF) का गठन किया है. महाराष्ट्र पुलिस का नवगठित एंटी-नारकोटिक्स टास्क फोर्स (ANTF) मादक पदार्थों की तस्करी पर नकेल कसने, अभियोजन से लेकर केंद्रीय एजेंसियों के साथ समन्वय करने तक का कार्य करेगा. ANTF विशेष रूप से पूरे महाराष्ट्र और अंतर-राज्यीय मादक पदार्थ तस्करी नेटवर्क से जुड़े मामलों से निपटेगा.

सरकार ने ANTF के लिए 346 पदों की दी मंजूरी

वरिष्ठ आईपीएस अधिकारी शारदा राउत को टास्क फोर्स का पहला प्रमुख नियुक्त किया गया है. फोर्स का डिप्टी DIG प्रवीण पाटिल को बनाया गया है. एक वरिष्ठ अधिकारी ने शनिवार को बताया कि फरवरी में सरकार ने ANTF के लिए 346 पदों को मंजूरी दी थी. जब राज्य पुलिस से अधिकारियों और अन्य कर्मियों की नियुक्ति हो जाएगी, तो यह आने वाले दिनों में काम करना शुरू कर देगा. टास्क फोर्स का उद्देश्य नशीली दवाओं की तस्करी और उसके उपयोग को खत्म करना है. यह मामलों की जांच और मुकदमा चलाएगा. नार्को अपराधियों पर डोजियर तैयार करेगा. इसके अलावा महाराष्ट्र के नार्को-समन्वय केंद्र के रूप में केंद्रीय और अन्य राज्यों की एजेंसियों के साथ समन्वय करेगा, साथ ही नशीली दवाओं के खिलाफ जागरूकता फैलाएगा.

पुणे और नागपुर में होगा मुख्यालय

ANTF के दो प्रभाग होंगे, जिसका मुख्यालय पुणे और नागपुर में होगा. इसके मुखिया एसपी होंगे. पुणे प्रभाग कोंकण, पश्चिमी महाराष्ट्र और उत्तर महाराष्ट्र जिलों के मामलों की निगरानी करेगा, जबकि नागपुर प्रभाग मराठवाड़ा और विदर्भ जिलों से निपटेगा. मुंबई को ANTF के अधिकार क्षेत्र से बाहर रखा गया है. क्योंकि राज्य की राजधानी में पहले से ही राज्य की एंटी-नारकोटिक्स सेल (एएनसी) और केंद्र सरकार के नारकोटिक्स कंट्रोल ब्यूरो (एनसीबी), सीमा शुल्क, राजस्व खुफिया निदेशालय जैसी नशीली दवा विरोधी एजेंसियां ​​हैं. स्थानीय पुलिस ड्रग मामलों के खिलाफ अभियान जारी रखेगी, लेकिन जिन मामलों का राज्यव्यापी या अंतरराज्यीय प्रभाव होगा उसे पुलिस महानिदेशक के निर्देश पर ANTF को सौंप दिया जाएगा.

ड्रग तस्करों और विक्रेताओं की बनेगी जिलेवार सूची

ANTF ड्रग तस्करों और स्थानीय विक्रेताओं की जिलेवार सूची भी बनाएगा. यह नारकोटिक ड्रग्स एंड साइकोट्रोपिक सब्सटेंस एक्ट के तहत दर्ज मामलों में सजा दिलाने में भी काम करेगा. एक वरिष्ठ पुलिस अधिकारी ने कहा कि एएनटीएफ के गठन से निश्चित रूप से ड्रग तस्करों के खिलाफ प्रभावी कार्रवाई करने में मदद मिलेगी. साथ ही उनके आपूर्ति और वितरण वाले नेटवर्क को तोड़ने में मदद मिलेगी. हाल ही में नासिक, लातूर, सांगली और कोल्हापुर सहित महाराष्ट्र के ग्रामीण इलाकों में कई मेफेड्रोन निर्माण इकाइयों का भंडाफोड़ किया गया था. अधिकारी ने कहा कि ड्रग्स राजस्थान, गुजरात और तेलंगाना सहित अन्य राज्यों से मंगाए जा रहे थे. एएनटीएफ इस नेटवर्क पर शिकंजा कसेगा.

ये भी पढ़ेंः दिल्ली पुलिस ने अंतरराष्ट्रीय ड्रग गिरोह का किया भंडाफोड़, 5 करोड़ रुपए की ड्रग्स के साथ 5 तस्कर रफ्तार

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