Red Fort blast Case: लाल किला ब्लास्ट केस में NIA यानी राष्ट्रीय जांच एजेंसी लगातार अपना काम कर रही है. अब इस केस में बड़ा अपडेट आया है.
18 December, 2025
Red Fort blast Case: राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली के पॉपुलर स्पॉट लाल किला इलाके में हुए धमाके के बाद से ही इस केस की जांच चल रही है. इससे जुड़े मामले में राष्ट्रीय जांच एजेंसी यानी NIA ने एक और अहम गिरफ्तारी की है. एजेंसी ने इस आतंकी साजिश में शामिल उमर-उन-नबी के करीबी सहयोगी को दबोच लिया है. अब इस सो-कॉल्ड “व्हाइट-कॉलर टेरर मॉड्यूल” में गिरफ्तार आतंकियो की संख्या बढ़कर 9 हो गई है. एनआईए के मुताबिक, गिरफ्तार आरोपी की पहचान यासिर अहमद डार के रूप में हुई है. ये जम्मू-कश्मीर के शोपियां का रहने वाला है. यासिर को दिल्ली से गिरफ्तार किया गया और उस पर गैरकानूनी गतिविधियां (रोकथाम) अधिनियम (यूएपीए) और भारतीय न्याय संहिता (बीएनएस) की धाराओं के तहत मामला दर्ज किया गया है.
साज़िश में शामिल
जांच एजेंसी का कहना है कि यासिर अहमद डार 10 नवंबर को लाल किला के पास हुए कार बम धमाके की साजिश में शामिल था. इस हमले में 15 लोगों की जान गई थी और कई घायल हुए थे. एनआईए का कहना है कि, डार ने ‘आत्म बलिदान’ जैसे खतरनाक ऑपरेशन्स को अंजाम देने की शपथ भी ली थी. जांच में ये भी सामने आया है कि यासिर लगातार इस केस के बाकी आरोपियों के कॉन्टेक्ट में था. इनमें धमाके का मेन आरोपी उमर-उन-नबी, जो अब मर चुका है, और लीड साजिशकर्ता मुफ्ती इरफान भी शामिल हैं. एनआईए अधिकारियों का कहना है कि ये सभी लोग मिलकर एक ऑर्गेनाइज़ नेटवर्क के तौर पर काम कर रहे थे.
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छापेमारी
एनआईए ने साफ किया है कि वो इस आतंकी हमले के पीछे की पूरी साजिश को सामने लाने के लिए सेंटर और स्टेट एजेंसियों के साथ मिलकर जांच जारी रखे हुए है. इससे पहले इस महीने एजेंसी ने जम्मू-कश्मीर और उत्तर प्रदेश में कई ठिकानों पर छापेमारी की थी. छापेमारी में डिजिटल डिवाइस और आपत्तिजनक सामग्री बरामद की गई है. इससे पहले भी हरियाणा के फरीदाबाद की अल फला यूनिवर्सिटी के साथ-साथ कई जगहों पर तलाशी ली जा चुकी है. जांच के दौरान चार डॉक्टरों, एक मौलवी और बाकी आरोपियों को गिरफ्तार किया गया था. आरोप है कि इनमें से एक ने उस कार को अपने नाम पर खरीदा था, जिसमें एक्सप्लोसिव भरकर लाल किला के पास धमाका किया गया था.
जारी है जांच
एनआईए के मुताबिक, इस केस के तार बैन्ड आतंकी संगठन जैश-ए-मोहम्मद से जुड़े पोस्टरों से भी जुड़े हैं, जो श्रीनगर में सामने आए थे. CCTV फुटेज और पूछताछ के जरिए धीरे-धीरे इस व्हाइट-कॉलर टेरर मॉड्यूल का पर्दाफाश हुआ, जिसमें बड़ी मात्रा में विस्फोटक बरामद किए गए. फिलहाल इस केस को लेकर एनआईए की जांच जारी है. एजेंसी का दावा है कि इस मामले से जुड़े हर पहलू को जल्द सामने लाया जाएगा.
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