एक तरफ जहां एयर इंडिया को लेकर कई सवाल खड़े किए जा रहे हैं वहीं इसकी फ्लाइट्स में लगातार शिकायतें आ रही हैं.
Air India Flights: अहमदाबाद प्लेन क्रैश के बाद ही एयर इंडिया की सुरक्षा सवालों के घेरे में है. लगातार एयर इंडिया पर सवाल उठाए जा रहे हैं. इस बीच एक और चौंकाने वाली खबर सामने आई है. न्यूज एजेंसी PTI के मुताबिक, बुधवार को एयर इंडिया ने रखरखाव, तकनीकी और अन्य मुद्दों के कारण 3 अंतरराष्ट्रीय उड़ानों को रद्द कर दिया. Air India ने जानकारी दी कि इन तीन में से दो फ्लाइट्स पैसेंजर के प्लेन में चढ़ने के बाद रद्द की गईं. एयरलाइन ने कहा कि उसने 18 जून की टोरंटो-दिल्ली उड़ान AI188 को रद्द किया और उन पैसेंजर्स को उतार दिया गया जो प्लेन में सवार थे. एयर इंडिया के अनुसार, 18 जून, 2025 को दुबई से दिल्ली के लिए उड़ान AI996 को तकनीकी कारणों से रद्द कर दिया गया और यात्रियों को विमान में चढ़ने के बाद उतारा गया.
बीच रास्ते मिली फ्लाइट को लौटने की सलाह
एयर इंडिया ने कहा, “दिल्ली से बाली जा रही AI2145 फ्लाइट को बीच रास्ते ही दिल्ली लौटने की सलाह दिए जाने के बाद रद्द कर दिया गया. AI2145 फ्लाइट को बाली के पास ज्वालामुखी विस्फोट की रिपोर्ट की वजह से रद्द किया गया. विमान सुरक्षित रूप से दिल्ली वापस उतरा और सभी यात्रियों को उतार लिया गया. यात्रियों के लिए जल्द से जल्द उनकी डेस्टिनेशन तक पहुंचाने के लिए जमीन पर मौजूद उसकी टीमें वैकल्पिक व्यवस्था कर रही हैं. फ्लाइट कैंसिल होने या रिशेड्यूलिंग होने के बाद पैसेंजर्स को एयर फेयर वापसी की पेशकश भी की गई है. एयरलाइन के बोइंग 787 बेड़े पर निरंतर बढ़ी हुई जांच के साथ-साथ हवाई क्षेत्र प्रतिबंधों और खराब मौसम के कारण उसे कुछ मुसीबतों का सामना करना पड़ रहा है.” बता दें कि B787-8 दुर्घटना के एक दिन बाद, जिसमें विमान में सवार 241 लोग मारे गए थे, नागरिक उड्डयन महानिदेशालय ने एयर इंडिया के बोइंग 787 बेड़े की बढ़ी हुई निगरानी का आदेश दिया.
लगातार आ रहीं शिकायतें
अहमदाबाद प्लेन क्रैश के बाद ही एयर इंडिया के विमानों में तकनीकी समस्याओं का हवाला देते हुए कई उड़ानें रद्द की गई हैं. DGCA ने भी मौजूद स्थिति पर चिंता व्यक्त की है. DGCA ने कहा कि एयर इंडिया को इंजीनियरिंग समेत इंटरनल कॉर्डिनेशन, ऑपरेशन्स और ग्राउंड हैंडलिंग यूनिट्स को स्ट्रॉन्ग करने पर काम करना चाहिए. इसके साथ ही DGCA ने यात्रियों की देरी को कम करने के लिए पर्याप्त स्पेयर की उपलब्धता सुनिश्चित करने की सलाह दी. डीजीसीए ने इस संबंध में एक समीक्षा बैठक भी की.
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